सामजिक रिश्ते और मानवता का नाता. इन चार कैटेगरी में सारे रिश्ते आ जाते हैं और इन्ही के इर्दगिर्द हम जीवन गुजार लेते हैं.
दुनिया रिश्तों पर चल रही है – खून के रिश्ते, दोस्ती के रिश्ते,
सामजिक रिश्ते और मानवता का नाता. इन चार कैटेगरी में सारे रिश्ते आ जाते हैं और इन्ही के इर्दगिर्द हम जीवन गुजार लेते हैं.
दुनिया रिश्तों पर चल रही है – खून के रिश्ते, दोस्ती के रिश्ते,