हाँ, मेरे जीवन में, चूँकि हमें इसे ऐसा ही कहना चाहिए, तीन चीज़ें थीं, बोलने में असमर्थता, चुप रहने में असमर्थता, और एकांत, यही वह है जिसका मुझे सर्वोत्तम उपयोग करना था.
और जो मेरे पास है, जो मैं हूं, वह काफी है, मेरे लिए हमेशा काफी था, _ और जहां तक मेरे प्यारे छोटे प्यारे छोटे से भविष्य का सवाल है _तो मुझे कोई चिंता नहीं है, _मेरा आने वाला समय अच्छा है.
हाँ, मुझे नहीं पता क्यों, लेकिन मैं कभी निराश नहीं हुआ, और मैं अक्सर शुरुआती दिनों में, उसी समय, या एक क्षण बाद, निर्विवाद राहत महसूस किए बिना होता था.
Unhappy, but not unhappy enough.
दुखी हूं, लेकिन इतना भी दुखी नहीं हूं.
ऐसा कभी-कभी होता है और कभी-कभी फिर से होगा कि मैं भूल जाता हूं कि मैं कौन हूं और एक अजनबी की तरह अपनी आंखों के सामने खड़ा हो जाता हूं.
नहीं, मुझे किसी बात का पछतावा नहीं है, मुझे केवल जन्म लेने का पछतावा है, मरना एक ऐसा लंबा थका देने वाला काम है जो मैंने हमेशा पाया है.
मैं हमेशा वही रहा हूँ जो मैं हूँ – और मैं जो था उससे बहुत बदल गया हूँ.
मैं कहता हूं मैं, यह जानते हुए भी कि यह मैं नहीं हूं.
मेरे दिमाग में कई खिड़कियाँ हैं, जिनके बारे में मैं जानता हूँ, लेकिन शायद वे हमेशा एक ही जैसी होती हैं, जो परेडिंग ब्रह्मांड में अलग-अलग तरह से खुलती हैं.
यदि कोई ऐसा प्रश्न है जिससे मुझे डर लगता है, जिसका मैं कभी भी कोई संतोषजनक उत्तर नहीं खोज पाया हूँ, तो वह प्रश्न है कि मैं क्या कर रहा हूँ.
हम यहां क्या कर रहे हैं, यही सवाल है.
to know you are beyond knowing anything, that is when peace enters in, to the soul of the incurious seeker.
क्योंकि कुछ भी नहीं जानना कुछ भी नहीं है,
इसी तरह कुछ भी जानने की इच्छा न करना, बल्कि कुछ भी जानने से परे होना, _यह जानना कि आप कुछ भी जानने से परे हैं,
तभी जिज्ञासु साधक की आत्मा में शांति प्रवेश करती है.
मेरे दिमाग में कुछ टपक रहा है. एक दिल, मेरे सिर में एक दिल.
मेरे चारों ओर इतना अंधकार होने से मैं कम अकेला महसूस करता हूँ.
शांति और अंधकार ही मैं चाहता था. खैर, मुझे दोनों की एक निश्चित मात्रा मिलती है. वे एक हैं.
मेरी गलतियाँ ही मेरी जिंदगी हैं.
That’s the mistake I made, one of the mistakes, to have wanted a story for myself, whereas life alone is enough.
मैंने यही गलती की, गलतियों में से एक, अपने लिए एक कहानी चाहना, जबकि अकेले जीवन ही काफी है.
छूना नहीं मुझे ! मुझसे सवाल मत करो ! मुझसे मत बोलो ! मेरे साथ रहो !
कल, जब मैं जागूंगा, या सोचूंगा कि मैं जागूंगा, तो आज के दिन के बारे में क्या कहूंगा ?
सब कुछ कैसे स्पष्ट और सरल हो जाता है जब कोई व्यक्ति भीतर की ओर आंख खोलता है, बेशक पहले उसे बाहर की ओर उजागर करता है, ताकि विपरीतता से लाभ उठा सके.
जहाँ आपके पास कुछ नहीं है, वहाँ आपको कुछ भी नहीं चाहिए.
एकमात्र चीज़ जिसके बारे में आपको कभी बात नहीं करनी चाहिए वह है आपकी ख़ुशी.
जब कोई मौज-मस्ती करता है तो समय कैसे उड़ जाता है !
पहले नाचो. बाद में सोचो. यह प्राकृतिक क्रम है.
मन के लिए कम से कम इतना तो कहा ही जा सकता है कि वह मन को दूर कर सकता है.
जिंदगी आदत है. या यों कहें कि जीवन आदतों का क्रम है.
आवश्यक परिवर्तन नहीं होता.
सब कुछ न कभी कहा गया है और न कभी कहा जाएगा.
शब्दों में अर्थ मत तलाशो. खामोशियों को सुनो.
शब्द वे वस्त्र हैं जो विचार पहनते हैं.
हर शब्द मौन और शून्यता पर एक अनावश्यक दाग की तरह है.
मौन, हाँ, लेकिन कैसा मौन! क्योंकि मौन रहना तो बहुत अच्छी बात है, लेकिन व्यक्ति को यह भी विचार करना होगा कि वह किस प्रकार का मौन रखता है.
You won’t believe what you can accomplish by attempting the impossible with the courage to repeatedly fail better.
कभी कोशिश की. _कभी असफल हुए. कोई बात नहीं. _ पुनः प्रयास करें. _ पुन: असफल. _असफल बेहतर’
आपको विश्वास नहीं होगा कि बार-बार बेहतर तरीके से असफल होने के साहस के साथ असंभव प्रयास करके आप क्या हासिल कर सकते हैं.
हम सब पैदाइशी पागल हैं. कुछ वैसे ही रहते हैं.