सुविचार 3447

जब हम स्वीकार करना और प्रेम करना सीख लेते हैं,

तब हमारे जीवन का हर पहलू फैलने- फूलने लगता है.

आप मक्खी को नहीं समझा सकते कि फूल कचरे से ज़्यादा खूबसरत हैं.!!

Submit a Comment

Your email address will not be published. Required fields are marked *

error: Content is protected