सुविचार 3575
धोखा खाने वाला उतना नहीं गंवाता, _ जितना धोखा देने वाला गंवाता है..
धोखा खाने वाला उतना नहीं गंवाता, _ जितना धोखा देने वाला गंवाता है..
को भी नज़रअंदाज करने से, हम जीवन में उद्देश्यपूर्ण रूप से आगे नहीं बढ़ सकते हैं.
_ उदारता हमारी स्वाभाविक दशा है.
_ समस्या तो होती है, लेकिन समाधान भी साथ होता है,”