मस्त विचार 4236
जिस तरह चाहे नचा ले तू इशारे पे मुझे ए तकदीर…
तेरे ही लिखे हुए अफ़साने का किरदार हूँ मैं….!!
तेरे ही लिखे हुए अफ़साने का किरदार हूँ मैं….!!
जिसका खुद के सिवा कोई गवाह ना हो !!
_ जैसे वो जी कर किसी पर एहसान कर रहे हों, “
लोग समझने लगे मुझे तकलीफ नहीं होती..
जब हम अपना दर्द किसी को बता नहीं पाते ..