सुविचार 4463

यह मानव स्वभाव है कई बार हम खूबसूरत और बेशकीमती चीजों से स्वतः ही ईर्ष्या भाव पाल लेते हैं … यह एक तरह का निर्दोष मिथ्यावाद है.

सुविचार 4461

प्रशंसा में छुपा झूठ, “और” आलोचना में छुपा सच, जिसने जान लिया,

समझो उसने अच्छे, “और” बुरे को पहचान लिया !

सुविचार 4460

दूसरों की जिंदगी में अपनी जगह और जरुरत ढूंढ़ना बंद कर दो ” खुश रहोगे “
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