सुविचार 4404
परिस्थिति की पाठशाला ही इंसान को वास्तविक शिछा देती है.
_ मैंने तो नाराज होना भी छोड़ दिया, देख न कितनी नाराजगी है..
आपके जीवन में कल कभी आने वाला ही नहीं है, हमेशा आज ही उपलब्ध होगा, इसलिए जो करना है शुरू कर लो..
वो ख़िलाफ़ रह कर क्या बिगाड़ लेंगे.
_ जिसका इलाज कुदरत और समय जरूर करता है !!
मैं ऐतबार न करता तो और क्या करता ….
आप उन चीजों के लिए अपनी आंखें बंद कर सकते हैं जिन्हें आप देखना नहीं चाहते हैं, लेकिन आप उन चीजों के लिए अपना दिल बंद नहीं कर सकते जिन्हें आप महसूस नहीं करना चाहते हैं.